Shivraj Cabinet Meeting: एमपी में अब फसल नुकसानी का मुआवजा बढ़ा, शिवराज कैबिनेट बैठक में लिए गए कई अहम निर्णय

Shivraj Cabinet Meeting: मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में आज कैबिनेट बैठक का आयोजन किया गया। भोपाल मंत्रालय में हुई इस बैठक में कई अहम निर्णय लिए गए।

Update: 2023-04-25 10:28 GMT

Shivraj Cabinet Meeting: मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में आज कैबिनेट बैठक का आयोजन किया गया। भोपाल मंत्रालय में हुई इस बैठक में कई अहम निर्णय लिए गए। कैबिनेट बैठक की ब्रीफिंग करते हुए एमपी सरकार के प्रवक्ता डॉ. नरोत्तम मिश्रा ने बताया कि मध्यप्रदेश में फसल नुकसानी का मुआवजा बढ़ाने को स्वीकृति मिली तो वहीं लाइनमैनों को 1000 रुपए जोखिम भत्ता प्रदान करने पर भी मुहर लगाई गई। इसके साथ ही अन्य प्रस्तावों को भी सहमति प्रदान की गई।

फसल नुकसानी पर यह मिलेगा मुआवजा

कैबिनेट बैठक में बारिश और ओले से प्रभावित फसल के मुआवजे की रकम बढ़ाने का फैसला लिया गया है। 2 हेक्टेयर तक के किसानों को 25 से 33 प्रतिशत फसल को नुकसान पहुंचने पर वर्षा आधारित फसल के लिए 500 रुपए प्रति हेक्टेयर, सिंचित फसल के लिए 9500 रुपए प्रति हेक्टेयर मुआवजा मिलेगा। बारहमासी बुवाई, रोपाई से 6 महीने से कम अवधि में फसल के नष्ट होने पर 9500 रुपए प्रति हेक्टेयर, बारहमासी बुवाई, रोपाई से 6 महीने के बाद फसल को नुकसान होने पर 16 हजार रुपए प्रति हेक्टेयर के राशि दी जाएगी। वहीं सब्जी, मसाले, ईसबगोल की खेती के लिए 19 हजार रुपए प्रति हेक्टेयर की दर से मुआवजा राशि निर्धारित की गई है।

50 प्रतिशत से अधिक नुकसानी पर यह राशि 

50 प्रतिशत से अधिक फसल को नुकसान पहुंचने पर वर्षा आधारित फसल के लिए 17 हजार रुपए प्रति हेक्टेयर, सिंचित फसल के लिए 32 हजार रुपए प्रति हेक्टेयर, बारहमासी बुवाई, रोपाई से 6 महीने से कम अवधि में फसल के नष्ट होने पर 32 हजार रुपए प्रति हेक्टेयर, बारहमासी बुवाई, रोपाई से 6 महीने के बाद फसल नष्ट होने पर 32 हजार प्रति हेक्टेयर मुआवजा निर्धारित किया गया है। वहीं सब्जी, मसाले, ईसबगोल की खेती के लिए 32 हजार रुपए प्रति हेक्टेयर, सेरीकल्चर फसल के लिए 13 हजार रुपए प्रति हेक्टेयर की दर से मुआवजा प्रदान किया जाएगा। वहीं 33 से 50 प्रतिशत फसल को नुकसान पहुंचने पर वर्षा आधारित फसल के लिए 85सौ रुपए प्रति हेक्टेयर, सिंचित फसल के लिए 16 हजार 500 रुपए प्रति हेक्टेयर मुआवजा मिलेगा। बारहमासी बुवाई, रोपाई से 6 महीने से कम अवधि में फसल नष्ट होने पर 19 हजार रुपए प्रति हेक्टेयर, बारहमासी बुवाई, रोपाई से 6 महीने के बाद फसल को नुकसान होने पर 21 हजार रुपए प्रति हेक्टेयर मुआवजा मिलेगा। सब्जी, मसाले, ईसबगोल की खेती के लिए 27 हजार रुपए प्रति हेक्टेयर, सेरीकल्चर के लिए 65 हजार रुपए प्रति हेक्टेयर मुआवजा निर्धारित किया गया है।

सरकारी जमीन पर मिलेगा धारणाधिकार पट्टा

एमपी कैबिनेट की बैठक में आज धारणाधिकार पट्टा देने को भी मंजूरी प्रदान की गई। सरकारी जमीन पर रह रहे लोगों को यह पट्टे दिए जाएंगे। पट्टे के लिए पात्रता अवधि अधिभोग की तिथि में वृद्धि कर 31 दिसंबर 2014 से बढ़ाकर 21 दिसंबर 2020 की गई है। 31 जुलाई 2023 तक सक्षम प्राधिकारी को आवेदन करना होगा। यह धारणाधिकार पट्टा 30 साल के स्थायी पट्टा जारी किए जाएंगे। खासकर सिंधिया समाज के लोग जो बाहर से आए, उन्हें पट्टे दिए जाने को मंजूरी प्रदान की गई।

सैलरी के अलावा मिलेगा जोखिम भत्ता

बिजली विभाग में आउटसोर्स लाइनमैन को सैलरी के अलावा हर माह 1000 रुपए जोखिम भत्ता प्रदान किया जाएगा। जिसके प्रस्ताव को भी आज कैबिनेट ने हरी झंडी दे दी। वहीं ग्वालियर मेडिकल कॉलेज के 1000 बिस्तर अस्पताल में 972 नए पद को भी मंजूरी दी गई है। इंदौर में देवी अहिल्या बाई होलकर के स्मारक के लिए सरकार 1.215 हेक्टेयर जमीन देगी। इंदौर के नंदानगर में कला एवं वाणिज्य महाविद्यालय संकाय प्रारंभ किए जाएंगे। यहां 47 नए पर स्वीकृत किए गए। राजस्व न्यायालयों के कम्प्यूटराइजेशन प्रोजेक्ट के लिए 2028 तक 7348.65 करोड़ रुपए खर्च करने की स्वीकृति प्रदान की गई।

यह फैसले भी लिए गए

शिवराज कैबिनेट बैठक में सीएम राइज स्कूल योजना के अंतर्गत 70 सर्व सुविधा संपन्न विद्यालय के लिए अनुमानित लागत 2843 करोड़ रुपए की स्वीकृति प्रदान की गई। पन्ना जिले की मझगांय मध्यम सिंचाई परियोजना को भी रिवाइज्ड प्रशासकीय स्वीकृति दी गई। इसकी लागत 693.64 लाख रुपए है। मझगांय की सिंचाई का रकबा 13060 हेक्टेयर है। इसमें पन्ना जिले की अजयगढ़ तहसील के 38 गांव में 13060 हेक्टेयर जमीन सिंचित होगी। पन्ना जिले की रुंझ मध्यम सिंचाई परियोजना को रिवाइज्ड स्वीकृति दी गई। इसकी लागत 513.73 करोड़ रुपए थी। रुंझ की सिंचाई का क्षेत्र 14450 हेक्टेयर है। इससे अजयगढ़ तहसील के 47 गांव में 14450 हेक्टेयर में सिंचाई होगी। मध्यप्रदेश में 45 नए दीनदयाल रसोई केंद्र बढ़ेंगे। जिनका नया कलेवर होगा। सतना मेडिकल कॉलेज के पहले चरण के निर्माण के लिए 302 करोड़ की जगह 328.79 करोड़ रुपए की स्वीकृति प्रदान की गई।

राहत राशि में वृद्धि का निर्णय

कैबिनेट में सरकार ने आरबीसी 6(4) के तहत सहायता देने के मापदंड में संशोधन करते हुए राहत राशि में वृद्धि करने का निर्णय लिया गया है। शरीर के किसी अंग अथवा आंखों की हानि पर राहत राशि 5100 रुपए से बढ़ाकर 74 हजार रुपए कर दी गई है। बाढ़ भूस्खलन में पहाड़ी क्षेत्रों में कृषि भूमि पर मलबा हटाने के लिए 12200 रुपए से राशि को बढ़ाते हुए 18 हजार प्रति हेक्टेयर की गई है। प्राकृतिक आपदा में दुधारू पशु की क्षति होने पर 30 हजार से बढ़ाकर राहत राशि 37 हजार 500 रुपए कर दी गई है। वहीं मछुआरों को दी जाने वाली सहायता 4100 से बढ़ाकर 6000 रुपए कर दी गई है।

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