रीवा के शराब ठेकेदार के घर ED की दबिश, आर्थिक अपराध से जुड़े मामले में हो रही छापेमारी

मध्यप्रदेश के रीवा शहर में एक शराब ठेकेदार के घर पर 13-14 जनवरी की अलसुबह प्रवर्तन निदेशालय (ED) की टीम ने छापा मारा है।

Update: 2024-01-14 08:55 GMT

रीवा / कटनी / जबलपुर: मध्यप्रदेश के रीवा शहर में शराब ठेकेदार पुष्पेंद्र सिंह 'पिंकू' के घर पर 13-14 जनवरी की अलसुबह प्रवर्तन निदेशालय (ED) की टीम ने छापा मारा है। मामला आर्थिक अपराध से जुड़ा बताया जा रहा है। 

ईडी की टीम अलसुबह बजरंग नगर स्थित शराब ठेकेदार पुष्पेंद्र सिंह 'पिंकू' के घर पहुंची है। इसके पहले टीम ने जबलपुर और कटनी में छापा मारा था। 13 जनवरी को कटनी में शराब कारोबारी बल्लन तिवारी के ठिकानों में भी ईडी की टीम ने दबिश दी थी। यहां से टीम को कई दस्तावेज़ और अन्य सामग्रियां बरामद हुई थी। लेकिन बल्लन मौके पर नहीं मिला।

बताया जा रहा है कि पुलिस ने बल्लन के जुए की फड़ में छापेमारी की थी। बल्लन तिवारी को पहले ही भनक लग चुकी थी और वह जबलपुर से ही फरार हो गया। बल्लन पर फर्जी डिमांड ड्राफ़्ट का इस्तेमाल कर कटनी में शराब के ठेके हासिल करने के भी आरोप हैं। बल्लन तिवारी उर्फ उमेश दत्त कटनी जिले के स्लीमनाबाद का निवासी है। जिसके बंधी स्थित निवास में 13 जनवरी को ED ने रैड की थी। जब बल्लन घर पर नहीं मिला तब टीम ने उसके दूसरे ठिकानों पर दबिश दी।

बताया जा रहा है कि बल्लन तिवारी भोपाल में भी बड़ा ठेका संचालित कर रहा है। ED की कारवाई को इसी से जोड़कर देखा जा रहा है। आरोप है कि उसने शराब ठेके की पार्टनरशिप और संपत्ति खरीदने में रकम को इधर-उधर किया था। ईडी ने 13 जनवरी की देर शाम जबलपुर की सुखसागर वैली कॉलोनी में भी छापेमारी की थी। यहीं से इस मामले के तार रीवा तक जुड़े दिखाई दिए। हालांकि, ईडी के अधिकारी इस मामले पर अभी ज्यादा जानकारी देने को तैयार नहीं हैं।

इस तरह हुआ था शराब ठेके का फर्जी डीडी कांड

मिली जानकारी के मुताबिक, साल 2016 में रीवा के शराब ठेकेदार पिंकू उर्फ पुष्पेन्द्र सिंह को शराब का ठेका मिला था। मार्जिन मनी जमा करने के एवज में पिंकू ने 17 डीडी लगाए गए थे। इन डिमांड ड्राफ्ट्स को कैश कराने पर पता चला कि 4 करोड़ रुपये कीमती 13 डीडी फर्जी हैं।

आबकारी विभाग में हुए बड़े फर्जी डीडी कांड में पुष्पेंद्र के साथ-साथ बल्लन तिवारी भी था। ईडी की कार्रवाई अभी तक जारी है। हालांकि, इस मामले में तत्कालीन कलेक्टर प्रकाश जांगरे, आबकारी अधिकारी आरसी त्रिवेदी और शराब ठेकेदार के खिलाफ भी लोकायुक्त में प्रकरण पहले ही दर्ज है।

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