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सेंसेक्स के लिए मंगलवार का दिन अमंगलकारी ही रहा। बीएसई सेंसेक्स 600 से ज्यादा पॉइंट्स लुढ़क गया, जबकि निफ्टी में भी 184 अंकों की गिरावट देखने को मिली है। सेंसेक्स 36,958 के स्तर पर बंद हुआ, जबकि निफ्टी भी 1.65 फीसदी की बड़ी गिरावट के साथ 10,926 के स्तर पर बंद हुआ। लुढ़कने वाले शेयरों में यस बैंक, बाजाज फाइनैंस, महिंद्रा ऐंड महिंद्रा, मारुति, भारती एयरटेल और एचडीएफसी जैसी दिग्गज कंपनियों के शेयर प्रमुख रूप से शामिल थे। शेयर मार्केट में इस बड़ी गिरावट के पीछे 5 मुख्य राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय वजहें हैं। आइए जानते हैं क्या हैं ये कारण...
1. अमेरिका-चीन ट्रेड वॉर मार्केट में इस बड़ी गिरावट की वजह अमेरिका-चीन ट्रेड वॉर भी है। अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप के बयान से दोनों देशों के बीच अगले महीने तय वार्ता पर संदेह के बादल मंडरा रहा है। इसके अलावा चीनी सामान पर और अधिक टैरिफ लगाए जाने के फैसले से यह शेयर बाजार का संकट और बढ़ गया है। हाल ही में गोल्डमैन सैक्स ने अपने एक विश्लेषण में कहा है कि 2020 में अमेरिकी राष्ट्रपति के इलेक्शन से पहले दोनों देशों के बीच ट्रेड डील होने की संभावना नहीं है।
2. हॉन्ग कॉन्ग आंदोलन चीन के स्वायत्त क्षेत्र हॉन्ग कॉन्ग में जारी प्रदर्शनों को तीन महीने बीत चुके हैं। यहां तक कि शहर के एयरपोर्ट को भी आंदोलनों के चलते बंद करना पड़ा है। दुनिया भर में और खासतौर पर एशिया के बाजार में इसका बड़ा असर पड़ा है।
3. अर्जेंटीना की करंसी में बड़ी गिरावट बाजार के लिए अर्जेंटीना की करंसी का क्रैश होना नई चिंता का सबब बना है। रविवार को अर्जेंटीना में हुए चुनावों के बाद सोमवार को करंसी में बड़ी गिरावट देखने को मिली। सोमवार को अर्जेंटीना की करंसी पेसो 15 पैसे की गिरावट के साथ खुली थी।
4. भारतीय रुपये का कमजोर होना भारतीय करंसी भी लगातार कमजोर हो रही है। फिलहाल रुपया डॉलर के मुकाबले 71.40 के स्तर पर कारोबार कर रहा है। यह बीते 6 महीने में रुपये का सबसे निचला स्तर है।
5. FPI पर अब तक फैसला नहीं फाइनैंस मिनिस्टर निर्मला सीतारमण ने शुक्रवारको फॉरेन पोर्टफोलियो इन्वेस्टर्स के साथ मीटिंग के दौरान राहत का कोई संकेत नहीं दिया। इससे पहले ऐसी खबरें आई थीं कि सरकार एफपीआई निवेश पर टैक्स में इजाफे को वापस लेने की स्कीम बना रही है।
