रीवा

प्याज की खेती से रीवा के भूपेन्द्र कुमार हुए मालामाल, जानें इनकी सफलता की कहानी

Rewa Farmers Success Story
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Rewa Farmer's Success Story: रीवा के किसान पारम्परिक खेती छोड़ अलग तरह की खेती कर अच्छा खासा पैसा कमा रहें हैं।

Rewa Farmer's Success Story: रीवा के किसान पारम्परिक खेती छोड़ अलग तरह की खेती कर अच्छा खासा पैसा कमा रहें हैं। ऐसे ही किसान एक किसान हैं रीवा के भूपेंद्र। उन्होने ने बताया कि पारंपरिक रूप से खेती करने, फल और सब्जी का उत्पादन लेने तथा पशुपालन करने के बाद भी 10 एकड़ जमीन से बहुत अधिक आय नहीं होती थी।

उन्होंने बताया कि उन्नत किस्म की खेती कर ज्ञान न होने और कृषि यंत्रों की जानकारी न होने के कारण 10 एकड़ जमीन में से 8 एकड़ में गेंहू की फसल लेने पर भी केवल 80 क्विंटल ही गेंहू का उत्पादन होता था। इसके बाद 7 एकड़ जमीन में चना का उत्पादन लेने पर 30 Ïक्वटल चना होता था।

एक एकड़ जमीन में डेयरी में केवल 6 लीटर ही दूध निकल पाता था। फसलों के उत्पादन से मुझे साल में केवल 4 लाख रूपये की आय होती थी जिससे जीवन यापन करना सरल नहीं था। मैं पढ़ा-लिखा किसान हूं तथा मन में उन्नत खेती करने की लालसा थी।

जिससे मैं समृद्धिशाली बनू और मेरा परिवार खुशहाल हो। सेमरिया कला के भूपेन्द्र कुमार ने बताया कि कृषि वैज्ञानिकों की सलाह पर मैंने 2.50 एकड़ जमीन में प्याज बोई और उसमें भरपूर प्याज का 359 Ïक्वटल उत्पादन हुआ। अकेले प्याज ने ही मुझे मालामाल कर दिया।

प्याज से मुझे 4.50 लाख रूपये की आय हुई। इसके अतिरिक्त खेतों में लगे आम को बेंचने पर 2 लाख रूपये की आय हुई। डेयरी में दूध का भरपूर उत्पादन हो रहा था। इससे मुझे 1.26 लाख रूपये की आय हुई। भूपेन्द्र ने बताया कि खेती में उन्नत किस्म के गेंहू की फसल बोने पर पहली बार 112 Ïक्वटल गेंहू का उत्पादन हुआ।

सहकारी समिति में गेंहूं बेचने पर 2 लाख 29 हजार रूपये तथा 48 Ïक्वटल चना बेंचने पर 2.44 लाख रूपये की आय हुई। उन्होंने कहा कि वैज्ञानिक विधि से खेती करना खेती में कृषि यंत्रों का उपयोग करना और जैविक खाद डालना बहुत लाभ दायक रहा। खेती ने मुझे लखपती बना दिया और मेरे परिवार के सारे अभावों को दूर कर दिया। आय होने से मैं अपने बच्चों को अच्छी शिक्षा दे रहा हूं।

Suyash Dubey | रीवा रियासत

Suyash Dubey | रीवा रियासत

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