रीवा

रीवा में शासकीय भूमि पर कब्जे के आरोप में सरपंच बर्खास्त, कलेक्टर के कड़े फैसले से हड़कंप

Rewa Collector Pratibha Pal News
x
सरकारी ज़मीन पर अवैध कब्ज़ा और फर्जी हलफनामे के आरोप में रीवा ज़िले की जरहा पंचायत के सरपंच को कलेक्टर ने बर्खास्त किया – बड़ा प्रशासनिक फैसला।

रीवा. रीवा ज़िले के गुढ़ विधानसभा क्षेत्र की जरहा पंचायत से एक महत्वपूर्ण प्रशासनिक कार्रवाई सामने आई है। यहां की सरपंच मनीष सिंह उर्फ लाला को शासकीय भूमि पर अवैध कब्जा करने और चुनावी शपथ पत्र में गलत जानकारी देने के आरोप में कलेक्टर प्रतिभा पाल ने 24 जून 2025 को उनके पद से बर्खास्त कर दिया है। यह निर्णय पंचायत स्तर पर पारदर्शिता और सरकारी संपत्ति की सुरक्षा के लिए एक प्रेरक कदम माना जा रहा है।

शिकायतकर्ता शिवेंद्र सिंह ने कलेक्टर न्यायालय में यह शिकायत दर्ज कराई थी कि सरपंच मनीष सिंह ने खसरा नंबर 636 पर स्थित भवन को अपनी निजी संपत्ति बताया था, जबकि वह शासकीय भूमि थी। इसके अलावा, उन्होंने खसरा नंबर 637 पर भी अवैध रूप से कब्जा कर रखा था। आरोप था कि सरपंच ने इन तथ्यों को छिपाकर पंचायत चुनाव लड़ा और जीता।

शिकायत मिलने के बाद कलेक्टर ने मामले की गंभीरता को देखते हुए न्यायालयीन प्रक्रिया शुरू की। सरपंच को कई बार नोटिस भेजा गया, लेकिन उन्होंने न तो कोई जवाब दिया और न ही सुनवाई में उपस्थित हुए। उनके इस गैर-जिम्मेदाराना रवैये को प्रशासन ने कदाचरण मानते हुए एकतरफा फैसला सुनाया।

मध्यप्रदेश पंचायत राज एवं ग्राम स्वराज अधिनियम 1993 की धारा 40 के तहत मिली शक्तियों का प्रयोग करते हुए कलेक्टर प्रतिभा पाल ने सरपंच को पद से हटा दिया। उन्होंने रायपुर कलचुलियान जनपद के सीईओ को नए चुनाव की प्रक्रिया शुरू करने का निर्देश भी दिया। कलेक्टर ने स्पष्ट संदेश दिया कि कोई भी जनप्रतिनिधि कानून का उल्लंघन करता है, तो उस पर कठोर कार्रवाई की जाएगी।

यह घटना दर्शाती है कि ग्रामीण क्षेत्रों में भी अब लोग ज्यादा जागरूक हो रहे हैं और डिजिटल रिकॉर्ड तथा आरटीआई के माध्यम से जनप्रतिनिधियों की जवाबदेही तय कर रहे हैं। कलेक्टर प्रतिभा पाल की इस सक्रियता की सराहना हो रही है, और यह संदेश साफ है कि सरकारी संपत्ति पर अतिक्रमण करने वाले किसी भी व्यक्ति को बख्शा नहीं जाएगा।

Next Story