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रीवा की बिछिया पुलिस पर गंभीर आरोप: शिकायत दर्ज कराने थाना आए नाबालिग को सर्वेंट बनाया, टॉयलेट साफ़ कराया; वीडियो वायरल

Top Highlights
- रीवा के बिछिया थाना में पुलिस पर गंभीर दुर्व्यवहार के आरोप।
- मारपीट की रिपोर्ट लिखाने पहुंचे फरियादी को उल्टा अपमानित किया गया।
- थाने में मौजूद पुलिसकर्मी ने नाबालिग बच्चे से टॉयलेट साफ करवाया।
- पीड़ित ने पूरी घटना का वीडियो SP को सौंपा — जांच की मांग।
रीवा में पुलिस कार्यशैली पर बड़ा सवाल — शिकायत करने गए, उल्टा बेइज्जत हुए
मध्यप्रदेश के रीवा जिले में बिछिया थाना पुलिस की कार्यशैली पर गंभीर सवाल उठने लगे हैं। मारपीट की शिकायत दर्ज कराने पहुंचे फरियादी और उसके नाबालिग भांजे के साथ थाने में जो व्यवहार किया गया, उसने सबको हैरान कर दिया है। आरोप है कि शिकायत दर्ज करने के बजाय पुलिस ने फरियादी का अपमान किया और उसके साथ आए नाबालिग बच्चे से थाने का टॉयलेट साफ करवाया। पीड़ित ने घटना का वीडियो मोबाइल में रिकॉर्ड कर रीवा SP को सौंपा है, जिसके बाद मामले में कार्रवाई की मांग तेज हो गई है।
पीड़ित का आरोप — “शिकायत लिखने की जगह पुलिस ने हमें नौकर जैसा ट्रीट किया”
फरियादी सुरेंद्र यादव ने बताया कि उस पर मुन्ना यादव, लाला यादव, अरुण यादव सहित छह लोगों ने हमला किया था। उसके सिर पर गहरी चोट लगी थी। न्याय की उम्मीद में वह बिछिया थाना पहुंचा था, लेकिन यहां उसकी FIR दर्ज ही नहीं की गई।
बल्कि उल्टा पुलिस ने उसे और उसके साथ आए नाबालिग बच्चे को बुरा व्यवहार झेलना पड़ा। सुरेंद्र के अनुसार, पुलिस ने आरोपी पक्ष में शामिल एक सरकारी कर्मचारी को बचाने के लिए मामला दबाने की कोशिश की।
नाबालिग बच्चे से थाने का टॉयलेट साफ करवाया — वीडियो में कैद सच्चाई
सबसे चौंकाने वाली बात यह रही कि पुलिस ने फरियादी के नाबालिग भांजे को बुलाया और उसके हाथ में पानी का डिब्बा पकड़ा दिया। इसके बाद बच्चे को थाने का टॉयलेट साफ करने के लिए कहा गया।
वीडियो में साफ दिख रहा है कि वर्दी में खड़ा एक पुलिसकर्मी आराम से पान मसाला बनाता नजर आ रहा है, जबकि नाबालिग बच्चा टॉयलेट में पानी भरकर सफाई करने के लिए मजबूर है। यह वीडियो सोशल मीडिया पर भी चर्चा का विषय बन गया है।
सुरेंद्र ने कहा—
“मैं घायल अवस्था में शिकायत दर्ज कराने आया था, लेकिन पुलिस ने आरोपी पक्ष का साथ दिया। मेरे भांजे को ऐसे ट्रीट किया जैसे हम नौकर हों। यह हमारे लिए बहुत बड़ी बेइज्जती थी।”
पुलिस पर पक्षपात का आरोप — “आरोपियों में एक सरकारी कर्मचारी, इसलिए बचाव?”
पीड़ित ने आरोप लगाया कि मारपीट के मामले में जिन लोगों पर वह रिपोर्ट दर्ज कराने आया था, उनमें एक सरकारी कर्मचारी भी शामिल है। उसका कहना है कि पुलिस उसी व्यक्ति को बचाने के लिए शिकायत दर्ज नहीं कर रही थी।
सुरेंद्र का कहना है कि FIR दर्ज न करना और उल्टा शिकायतकर्ता को अपमानित करना इसकी ओर इशारा करता है कि पुलिस पर बाहरी दबाव हो सकता है।
वीडियो SP को सौंपा, विभागीय जांच की मांग
पीड़ित ने घटना का पूरा वीडियो रिकॉर्ड कर रीवा SP ऑफिस में जमा कराया है। वीडियो सामने आने के बाद स्थानीय लोगों ने भी पुलिस की कार्यशैली पर सवाल उठाए हैं। आम लोगों का कहना है कि थाने में नाबालिग से टॉयलेट साफ करवाया जाना न केवल अवैध है बल्कि बाल अधिकारों का उल्लंघन भी है।
मामले की जांच बिछिया थाना और उच्च अधिकारियों के स्तर पर होने की मांग की जा रही है।
FAQs – Rewa Bichhiya Police Controversy
1. फरियादी किस शिकायत के लिए थाने गया था?
वह मारपीट की FIR दर्ज कराने गया था, जिसमें उसे सिर में गंभीर चोट लगी थी।
2. नाबालिग बच्चे से क्या कराया गया?
पुलिसकर्मी ने बच्चे से थाने का टॉयलेट साफ करवाया और उससे पानी भरवाया।
3. क्या घटना का वीडियो मौजूद है?
हाँ, पीड़ित ने वीडियो रिकॉर्ड कर SP को सौंपा है।
4. क्या FIR दर्ज हुई है?
अब तक पुलिस ने FIR दर्ज नहीं की है, आरोप है कि पुलिस आरोपी पक्ष को बचा रही है।
Rewa Riyasat News
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