रीवा

किसानों के साथ बर्बरता का रीवा में विरोध, निकाली गई रैली, हरियाणा सीएम का फूंका पुतला

Protest against brutality with farmers in Rewa, rally taken out, burnt effigy of Haryana CM
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रीवा में हरयाणा के मुख्यमंत्री खट्टर का जलाया गया पुतला 

हरियाणा सीएम खट्टर एवं एसडीएम के खिलाफ हत्या का अपराध दर्ज कराने किसानों ने राष्ट्रपति के नाम कमिश्नर को सौंपा ज्ञापन।

Rewa / रीवा। हरियाणा (Haryana) के टोल प्लाजा में किसानों के सिर पर चलाई गई लाठी तथा की गई बरर्बता के खिलाफ गुरूवार को रीवा में किसान संगठनो ने विरोध किया है।

हेलमेट पहन कर निकाली रैली

किसान सगंठन के लोग कालेज चौराहा स्थित विवेकानंद पार्क से हेलमेट पहन कर एक रैली निकाली और कोठी कम्पाउन्ड में जहां हरियाणा के सीएम का पुतला दहन किये वही महामहिम राष्ट्रपति के नाम संभागीय कमिश्नर को ज्ञापन पत्र सौपा है।

अपराध दर्ज करने की मांग

संयुक्त किसान मोर्चा के संयोजक किसान नेता शिव सिंह ने बताया कि मोर्चा के पदाधिकारी व किसान हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर एवं एसडीएम आयुष सिन्हा सहित अन्य दोषियों के खिलाफ हत्या एवं हत्या के प्रयास का अपराधिक प्रकरण दर्ज कराए जाने की मांग महामहिम राष्ट्रपति से की है।

किसानों का कहना था कि विगत दिवस हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने एसडीएम करनाल आयुष सिन्हा को प्रभाव में लेकर टोल प्लाजा पर लोकतांत्रिक तरीके से आंदोलित किसानों के ऊपर पुलिस से जानलेवा हमला कराया, जिसके चलते किसान सुशील काजल की मौत हो गई तथा सैकड़ों किसान घायल हो गये और मरणासन्न हालत में हॉस्पिटल में है।

रैली आंदोलन में ये रहे शामिल

ज्ञापन सौंपने के दौरान मीसाबंदी बृहस्पति सिंह, किसान नेता रविदत्त सिंह, प्रमोद प्रधान, गया प्रसाद मिश्रा, भैयालाल त्रिपाठी, रामायण सिंह, कुंवर सिंह, बद्री प्रसाद कुशवाहा, आरएस वर्मा, रामजीत सिंह, शिव सिंह, ओमनारायण सिंह, रामानुज तिवारी, गिरिजेश सिंह सेगर, इंद्रजीत सिंह संखू, लालमणि त्रिपाठी, अजय पांडे, संतकुमार पटेल, संजय निगम, अभिषेक कुमार पटेल, रविनंदन सिंह, शोभनाथ कुशवाहा, अमित सोहगौरा, विवेक पटेल, अनिल सिंह, जयभान सिंह, रमेश सिंह फौजी, यदुवंश आदि किसान शामिल रहें।

243बें दिन जारी रहा धरना

किसान बिल के विरोध में दिल्ली किसान आंदोलन के समर्थन में 243बें दिन ग्राम बिहरा में किसान समरजीत सिंह के नेतृत्व में धरना दिया गया। जिसमें किसान शामिल रहें।

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