
SC ने राहुल गांधी को कहा- 'सच्चा भारतीय ऐसा नहीं कहेगा': प्रियंका बोलीं- जज तय नहीं करेंगे कि सच्चा भारतीय कौन, भाई के बयान का गलत मतलब निकाला

राहुल गाँधी और प्रियंका गाँधी वाड्रा
कांग्रेस नेता राहुल गांधी द्वारा भारतीय सेना पर की गई टिप्पणी से जुड़े एक मामले में सुप्रीम कोर्ट की एक बेंच ने कड़ा रुख अपनाया है. कोर्ट ने राहुल गांधी से तीखे सवाल पूछे और कहा, "सच्चा भारतीय ऐसा नहीं कहेगा." सुप्रीम कोर्ट ने राहुल पर सवाल उठाते हुए कहा कि उन्हें कैसे पता चला कि चीन ने भारत की 2000 वर्ग किमी जमीन पर कब्जा कर लिया है? कोर्ट की इस टिप्पणी ने भारतीय राजनीति में एक नई बहस छेड़ दी है.
सुप्रीम कोर्ट की इस टिप्पणी पर प्रतिक्रिया देते हुए, कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने मंगलवार को संसद परिसर में कहा, "माननीय जजों का पूरा सम्मान रखते हुए मैं ये कहना चाहती हूं कि वे यह तय नहीं करते कि सच्चा भारतीय कौन है." उन्होंने कहा कि सरकार से सवाल पूछना विपक्ष के नेता का कर्तव्य है, और उनका भाई कभी भी सेना के खिलाफ नहीं बोलेगा. उन्होंने आरोप लगाया कि मेरे भाई राहुल की बातों का गलत मतलब निकाला गया है.
पीएम मोदी बोले- 'सुप्रीम कोर्ट की इससे बड़ी फटकार नहीं'
वहीं, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इसी मुद्दे पर संसद भवन में एनडीए (NDA) संसदीय दल की बैठक में कांग्रेस और राहुल गांधी पर तीखा हमला बोला. पीएम मोदी ने कहा, "सुप्रीम कोर्ट की इससे बड़ी फटकार हो ही नहीं सकती है." उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट की यह टिप्पणी राहुल गांधी के बयानों की गंभीरता को दर्शाती है और यह दिखाती है कि उनके आरोप कितने आधारहीन हैं.
राहुल गांधी की सेना पर टिप्पणी से जुड़ा है विवाद
यह पूरा विवाद राहुल गांधी के 16 दिसंबर 2022 में 'भारत जोड़ो यात्रा' के दौरान दिए गए एक बयान से जुड़ा है. उन्होंने कहा था, "लोग भारत जोड़ो यात्रा के बारे में पूछेंगे, लेकिन चीन ने 2000 वर्ग किमी भारतीय जमीन पर कब्जा कर लिया है, 20 भारतीय सैनिक मारे गए और हमारे सैनिकों को अरुणाचल में पीटा जा रहा है."
राहुल गांधी के इस बयान पर, बॉर्डर रोड ऑर्गेनाइजेशन (BRO) के पूर्व निदेशक उदय शंकर श्रीवास्तव ने लखनऊ की एक एमपी-एमएलए कोर्ट में राहुल के खिलाफ मानहानि का केस दर्ज कराया था. इसी मामले में 29 मई को इलाहाबाद हाई कोर्ट ने राहुल गांधी की याचिका खारिज कर दी थी और उन्हें निचली अदालत से जारी समन को चुनौती देने की मांग खारिज कर दी. इसके बाद राहुल गांधी ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था, जहाँ यह टिप्पणी सामने आई.
कोर्ट रूम लाइव: SC ने राहुल से पूछे तीखे सवाल
सुप्रीम कोर्ट में इस मामले की सुनवाई जस्टिस दीपांकर दत्ता और एजी मसीह की बेंच ने की. कोर्ट रूम में हुई बहस...
सिंघवी: क्या विपक्ष का नेता मुद्दे नहीं उठा सकता?
बेंच: आप विपक्ष के नेता हैं. ये बातें संसद में क्यों नहीं कहते? सोशल मीडिया की क्या जरूरत है? कैसे पता चला कि चीन ने 2000 वर्ग किमी क्षेत्र पर कब्जा कर लिया? क्या आप वहां थे? कोई प्रमाण है?
सिंघवी: राहुल सिर्फ सूचना उजागर करने और दबाए गए तथ्य सामने लाने की बात कर रहे थे.
जस्टिस दत्ता: एक जिम्मेदार विपक्षी नेता के नाते उन्हें ऐसा नहीं करना चाहिए था. ऐसे सवाल उठाने के लिए एक उपयुक्त मंच मौजूद है.
दलीलें सुनने के बाद सुप्रीम कोर्ट ने इस केस में लखनऊ की अदालत में उनके खिलाफ शुरू की गई कार्यवाही पर फिलहाल रोक लगा दी और उत्तर प्रदेश सरकार व शिकायतकर्ता से तीन सप्ताह में जवाब मांगा है.
भाजपा ने राहुल गांधी पर साधा निशाना
सुप्रीम कोर्ट की इस टिप्पणी पर भाजपा ने राहुल गांधी पर जमकर हमला बोला. भाजपा प्रवक्ता गौरव भाटिया ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि सुप्रीम कोर्ट की टिप्पणी से राहुल गांधी की विश्वसनीयता पर सवाल उठता है. उन्होंने कहा कि यह पहली बार नहीं है जब राहुल गांधी ने भारत विरोधी मानसिकता दिखाई है. भाजपा का यह भी कहना है कि राहुल गांधी ने 3 अप्रैल 2025 को भी लोकसभा में चीन द्वारा भारतीय जमीन पर कब्जा करने का दावा किया था, जबकि विदेश सचिव विक्रम मिसरी चीनी राजदूत के साथ केक काट रहे थे.
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