राष्ट्रीय

राष्ट्रपति चुनाव 2022: राष्ट्रपति चुनाव के लिए बीजेपी और कांग्रेस के पास कितना वोट वेटेज?

राष्ट्रपति चुनाव 2022: राष्ट्रपति चुनाव के लिए बीजेपी और कांग्रेस के पास कितना वोट वेटेज?
x
BJP Vs Congress Vote For Presidential election 2022: भारत के राष्ट्रपति चुनाव में विपक्ष बहुत कॉन्फिडेंस में हैं लेकिन विपक्षी दलों के पास इतना वोट वेटेज नहीं है कि उनका कैंडिडेट राष्ट्रपति बन सके.

Presidential Election 2022: भारत के राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद का कार्यकाल जुलाई में समाप्त हो जाएगा, अब देश को नया राष्ट्रपति मिलेगा, लेकिन उससे पहले देश की राजनितिक पार्टियों के बीच अपने-अपने प्रेजिडेंट कैंडिडेट के लिए उठापटक होगी। राष्ट्रपति चुनाव में कौन का कैंडिडेट जीतता है यह वोट नहीं वोट वेटेज के हिसाब से तय होता है. फ़िलहाल अभी ना तो NDA के पास पूर्ण बहुमत जितने वोट पॉइंट है और न ही UPA के पास इतना वोट वेटेज है कि वो अपने कैंडिडेट को राष्ट्रपति चुनाव जितवा सके. मतलब इस बार का राष्ट्रपति चुनाव न तो बीजेपी के लिए आसान है और न कांग्रेस के लिए.

राष्ट्रपति बनने के लिए कितना वोट वैल्यू चाहीये

भारत में राष्ट्रपति बनने के लिए कम से कम 5,49,452 वोट वैल्यू होना जरूरी है. राष्ट्रपति चुनाव में सांसद, राज्यभा सांसद और विधायक वोट करते हैं. जिस कैंडिडेट को ज़्यादा वोट वैल्यू मिलती है वही राष्ट्रपति बनता है. वोट वैल्यू कैसे कैलकुलेट होती है, सांसदों की वोट वैल्यू कितनी होती है और भारत के राष्ट्रपति चुनाव कैसे होता है पूरा खेल जानने के लिए इधर क्लिक करें।

राष्ट्रपति चुनाव के लिए NDA के पास कितनी वोट वैल्यू है

NDA Vote Value For Presidential Election: बीजेपी सहित अन्य समर्थन वाले दलों मतलब NDA के पास अपने उम्मीदवार को राष्ट्रपति बनाने के लिए टोटल 5.45 लाख वोट वेल्यू है जो जीत दिलाने के लिए 13 हज़ार वोट वैल्यू से कम है। लेकिन NDA को अगर ओडिशा के मुख्यमंत्री नविन पटनायक का साथ मिल जाता है तो राष्ट्रपति NDA का ही बनेगा। उनके पास 30 हज़ार से ज़्यादा वोट हैं. वैसे नवीन पटनायक ने विपक्षी दल में रहते हुए भी NDA को समर्थन दिया है. वहीं आंध्रप्रदेश के मुख्यमंत्री जगमोहन रेड्डी का समर्थन मिल जाता है तो फिर NDA के कैंडिडेट का राष्ट्रपति बनना तय है.

राष्ट्रपति चुनाव के लिए UPA के पास कितनी वोट वैल्यू है

UPA Vote Value For Presidential Election: कांग्रेस सहित अन्य समर्थन वाली पार्टियों को मिलकर UPA के पास 2.60 लाख वोट हैं, लेकिन अन्य दलों के पास भी 2.93 लाख वोट हैं. अगर UPA के साथ अन्य दल के नेता भी मिल जाते हैं और एक ही कैंडिडेट को वोट देते हैं तो भारत का अगला राष्ट्रपति विपक्षी दल का कैंडिडेट बन जाएगा जो फिर बाद में केंद्र सरकार के लिए बड़ी परेशानी का कारण बन सकता है.

राष्ट्रपति चुनाव कब है

भारत में राष्ट्रपति चुनाव की तारिख 18 जुलाई तय की गई है, 29 जून तक नामांकन होना है और वोटिंग के बाद 21 जुलाई को काउंटिंग होगी और इसी के साथ देश को नया राष्ट्रपति मिल जाएगा।

भारत में राष्ट्रपति चुनाव कैसे होता है जानने के लिए इधर क्लिक करें

Next Story