
New Education Policy 2023: सभी शिक्षकों को ट्रेनिंग लेना हुआ अनिवार्य, जारी हुआ आदेश, जानें

कॉलेज के शिक्षकों को 36 घंटे का प्रशिक्षण लेना होगा। इसके लिए आईजीएनओयू ने ट्रेनिंग की व्यवस्था की है। इस संबंध में उच्च शिक्षा विभाग ने सभी कुलपतियों को क्रियान्वयन की जिम्मेदारी भी सौंप दी है। क्रियान्वयन की जिम्मेदारी नैक के नोडल अधिकारी एनके अग्रवाल को सौंपी गई है। इस संबंध में अपर मुख्य सचिव कुमार सिंह ने कहा है कि 15 अगस्त 2022 से यह कार्यक्रम चलाया जा रहा है। इस योजना पर बिहार में अब काम शुरू होगा।
इग्नू ने विकसित किया
नई शिक्षा नीति के तहत लेक्चरर प्रोफेसर सहित सभी शिक्षकों को प्रोफेशनल डेवलपमेंट प्रोग्राम के तहत प्रशिक्षण लेना आवश्यक किया जा रहा है। बताया गया है कि इस प्रशिक्षण कार्यक्रम को राष्ट्रीय शिक्षा नीति के मानक के अनुरूप शोध, अनुसंधान और अध्ययन के बाद तैयार किया गया है। इस कोर्स को विकसित करने में इग्नू का अहम योगदान है।
36 घंटे का होगा प्रशिक्षण
लेक्चरर, प्रोफ़ेसर समेत सभी शिक्षकों को दिए जाने वाला प्रशिक्षण 36 घंटे का होगा। इस प्रशिक्षण को 9 दिनों में पूरा किया जा सकता है। प्रशिक्षण ऑनलाइन भी होगा। इसके लिए देश के 6000 कॉलेज शिक्षकों का पायलट बैच शुरू हो चुका है। 30,000 शिक्षक इसके लिए निबंधित किए गए हैं।
प्रशिक्षण में इन्हें किया गया शामिल
इग्नू के इस प्रशिक्षण कार्यक्रम में प्रोफेशनल डेवलपमेंट प्रोग्राम यूजीसी एचआरडीसी के समकक्ष है। बताया गया है कि यह कार्यक्रम से जुड़कर कॉलेज के शिक्षक समर्थ प्लेटफार्म के माध्यम से आगे की कार्यवाही कर पाएंगे। ऐसी व्यवस्था की गई है कि इसमें ई कंटेंट की 14 इकाई, ई ट्यूटोरियल की 30 उच्च क्षमता वीडियो अध्ययन, विवाद के प्लेटफार्म तथा लाइव कॉन्फ्रेंस से जुड़े हुए कार्यक्रम है। इनके माध्यम से शिक्षकों को बेहतर जानकारी उपलब्ध कराई जा रही है।




