मध्यप्रदेश

मध्य प्रदेश सरकार का सोशल मीडिया पर शिकंजा / भ्रामक और गैरकानूनी पोस्ट डाला तो खैर नहीं, ऑनलाइन प्रसारण पर रोक लगाने आदेश जारी

Aaryan Dwivedi
15 July 2021 10:56 AM GMT
मध्य प्रदेश सरकार का सोशल मीडिया पर शिकंजा / भ्रामक और गैरकानूनी पोस्ट डाला तो खैर नहीं, ऑनलाइन प्रसारण पर रोक लगाने आदेश जारी
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भोपाल. सोशल मीडिया (Social Media) का इस्तेमाल अब अफवाह फैलाने, मनमर्जी और गैरकानूनी पोस्ट (illegal or fake post) डालने के लिए नहीं कर सकेंगे. जो लोग ऐसा करते हैं उन पर मध्य प्रदेश सरकार (MP Government) शिकंजा कसने का पूरा मूड बना चुकी है. बुधवार को मध्य प्रदेश सरकार के गृह विभाग (Home department) द्वारा इस सम्बन्ध में आदेश जारी कर दिया गया है. 

भोपाल. सोशल मीडिया (Social Media) का इस्तेमाल अब अफवाह फैलाने, मनमर्जी और गैरकानूनी पोस्ट (illegal or fake post) डालने के लिए नहीं कर सकेंगे. जो लोग ऐसा करते हैं उन पर मध्य प्रदेश सरकार (MP Government) शिकंजा कसने का पूरा मूड बना चुकी है. बुधवार को मध्य प्रदेश सरकार के गृह विभाग (Home department) द्वारा इस सम्बन्ध में आदेश जारी कर दिया गया है.

मध्य प्रदेश सरकार द्वारा जारी नए आदेश के तहत सोशल मीडिया में किसी भी तरह से कोई भी भ्रामक, मनमर्जी और गैर कानूनी सामग्री नहीं डाल सकेगा और न ही वायरल कर सकेगा. सरकार के नोटिस पर फ़ौरन इसे हटाना होगा. ऐसा न करने पर सम्बंधित के खिलाफ कानूनी कार्यवाही की जाएगी.

जारी आदेश में सुको के आदेश का हवाला

ख़ास बात तो यह है कि यह कार्रवाई सम्बंधित व्यक्ति के साथ सेवा प्रदाता कंपनी पर भी की जाएगी. गृह विभाग के अपर मुख्य सचिव डॉ. राजेश राजौरी द्वारा बुधवार को इस सम्बन्ध में नया आदेश जारी कर दिया गया है. नए आदेश में सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court of India) द्वारा मार्च 2015 में दिए गए आदेश के साथ सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम 2000 की धारा 79 (3) B और सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम 2011 का हवाला दिया गया है.

नोटिस जारी करने का अधिकार सरकार को

सुको के इस आदेश के तहत कम्प्यूटर संसाधन से जुडी किसी भी गैर कानूनी सामग्री को अविलंब हटाने के लिए नोटिस जारी करने का अधिकार सरकार को दिया गया है. राज्य सरकार द्वारा जारी आदेश में भारत सरकार के इलेक्ट्रॉनिकी एवं सूचना प्रौद्योगिकी व साइबर लॉ का भी सन्दर्भ दिया गया है.

राज्य सरकार द्वारा जारी आदेश में कहा गया है कि सोशल मीडिया प्लेटफार्म में वेबसाइट, ई कॉमर्स वेबसाइट, यू ट्यूब, मोबाइल एप्प, विभिन्न ऑनलाइन एग्रेगेटर, इंटरनेट सेवा प्रदाता एवं वेब होस्टिंग सेवा प्रदाता कंपनियां शामिल हैं. सोशल मीडिया के जरिए लोगों द्वारा भ्रामक, अफवाहजनक, गैर कानूनी एवं क़ानून व्यवस्था बिगाड़ने वाले पोस्ट डाले जा रहें हैं. जिस पर लगाम लगाना आवश्यक है.

बता दें भ्रामक और अफवाहजनक सामग्रियों के सोशल मीडिया में डालने का असर सीधे तौर पर समाज में पड़ता है. ऐसे कई वेबसाइट, व्हाट्सप्प ग्रुप, फेसबुक पेज या निजी प्रोफाइल, यूट्यूब चैनल हैं जो सोशल मीडिया का दुरूपयोग कर लोगों को गलत और भ्रामक जानकारी दे रहें हैं. ऐसे ही लोगों पर मध्यप्रदेश सरकार शिकंजा कसने जा रही है.

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