मध्यप्रदेश

मौत के आंकड़े छिपा रही सरकार? भोपाल में 6 दिनों में कोरोना गाइडलाइन से 102 के अंतिम संस्कार, हेल्थ बुलेटिन में सिर्फ 6 की मौत : MP NEWS

भोपाल। कोरोना संक्रमण को लेकर भले ही आम आदमी और सरकार हल्के से ले रही हो, लेकिन स्थित कुछ और ही बयां कर रही है। अकेले प्रदेश की राजधानी भोपाल में 27 मार्च से 1 अप्रैल तक 102 शवों का अंतिम संस्कार कोरोना गाइडलाइन के तहत किया गया है। 

भोपाल। कोरोना संक्रमण को लेकर भले ही आम आदमी और सरकार हल्के से ले रही हो, लेकिन स्थित कुछ और ही बयां कर रही है। अकेले प्रदेश की राजधानी भोपाल में 27 मार्च से 1 अप्रैल तक 102 शवों का अंतिम संस्कार कोरोना गाइडलाइन के तहत किया गया है।

अकेले भदभदा विश्राम घाट पर 84 शव लाए गए थे, जिसमें भोपाल के 41 शव थे। यहां रोजाना 14 से 15 शव लाए जा रहे हैं, लेकिन स्वास्थ्य विभाग की हेल्थ बुलेटिन के अनुसार इन 6 दिनों में भोपाल में सिर्फ 6 मौतें हुई हैं।

यहां हो रहे अंतिम संस्कार

राजधानी के भोपाल में कोरोना से मृत होने वाले लोगो के लिये तीन स्थान अंतिम संस्कार के लिये चिहिंत किये गये है। जिसमें से भदभदा, सुभाष नगर और झदा कब्रिस्तान में ही कोरोना संक्रमितों और संदिग्धों का अंतिम संस्कार किया जाता है।

मुक्ति धाम के आकड़े बताते है कि 27 मार्च से 1 अप्रैल तक भदभदा विश्राम घाट पर 84 शव तथा सुभाष नगर विश्राम घाट 9 शवो का अंतिम संस्कार कोरोना गाइड लाइन के तहत किया गया है। तो वही 27 मार्च से 1 अप्रैल तक ही झदा कब्रिस्तान में कोरोना गाइड लाइन के तहत ही 9 शव दफनाए गए हैं।

आकड़ो की जानकारी लेने में जुटी पुलिस

कोरोना से होने वाली मौत के आकड़े जुटाने के लिए पुलिस विभाग भी सक्रिय हो गया है। भदभदा विश्राम घाट पर पुलिस कर्मी भी आकड़े जुटा रहे है।

प्रतिदिन औसतन आ रहे 14 से 15 शव

भदभदा विश्राम घाट समिति अध्यक्ष अरुण चौधरी ने मीडियो को जानकारी देते हुये बताया कि पिछले कई दिनों से औसतन प्रतिदिन 14 से 15 ऐसे शव आ रहे है, जिनका कोरोना गाइड लाइन के तहत अंतिम संस्कार किया जा रहा हैं। इसमें दूसरे शहरों के भी शव शामिल हैं।

उन्होने आम जन से अपील भी किया है कि कोरोना संक्रमित के शव यात्रा में ज्यादा लोग न आएं। इससे संक्रमण फैलने की संभावना बढ़ती है। उनका कहना है कि जिस तरह से एक ही वाहन में कई शव लाये जा रहे है। इस पर शासन-प्रशासन रोक लगानी चाहिये।

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