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7 बार फेल फिर आठवीं बार में बनी वायुसेना अफसर, इनका जूनून सुन आप भी रह जाएंगे दंग...
![7 बार फेल फिर आठवीं बार में बनी वायुसेना अफसर, इनका जूनून सुन आप भी रह जाएंगे दंग... 7 बार फेल फिर आठवीं बार में बनी वायुसेना अफसर, इनका जूनून सुन आप भी रह जाएंगे दंग...](https://www.rewariyasat.com/uploads/2021/01/photo-2-1.jpg)
7 बार फेल फिर आठवीं बार में बनी वायुसेना अफसर, इनका जूनून सुन आप भी रह जाएंगे दंग…
इंदौर: इंदौर शहर मध्यप्रदेश का महानगर कहा जाता है इस बीच अपने टैलेंट को निखारने के लिए इंदौर के लोग किसी भी तरह की कमी नहीं छोड़ते है. इस बीच हम जिस सख्श की बात कर रहे है वो है सलोनी शुक्ला। जिन्होंने सेना में अपने सेवा देने के लिए आठवीं बार में सलोनी का चयन भारतीय वायुसेना में फ्लाइंग ऑफिसर के रूप में हुआ है. आपको बता दे की लगातार 7 बार असफलता के बाद आखिरकार सलोनी ने अपने लक्ष्य को पा लिया है.
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जानकारी के मुताबिक सलोनी ने मैकेनिकल इंजीनियरिंग की थी जिसके बाद उनके अंदर देश के प्रति जूनून था की वो अपनी सेवा वायुसेना में दे. फिर क्या था सफलता पाने के लिए सलोनी दिन-रात मेहनत करती रही. फिर बाद में उन्हें सफलता मिल ही गई. आपको बता दे की सलोनी के माता-पिता दोनों सरकारी नौकरी में है. सलोनी के पिता संजय कुमार शुक्ला आकाशवाणी में अभियंता हैं और वही मां रश्मि शुक्ला केंद्रीय विद्यालय 1 में शिक्षिका के तौर पर अपनी सेवा दे रही हैं।
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सलोनी ने एक इंटरव्यू के दौरान बताया की उनका सपना बचपन से ही सेना में जाने को था जिसके कारण वो रात-दिन प्रयास भी करती रही है. सलोनी ने केंद्रीय विद्यालय से अपनी पढाई पूरी की है. सलोनी ने कहा की सेना देश के प्रति कुर्बान रहती है और यही सब देख उन्हें और ज्यादा जूनून मिलता था. वही सलोनी ने अपनी सफलता का श्रेय अपने दादाजी रामकुमार शुक्ला को देते हुए कहा की उन्होंने मुझे मार्गदर्शन दिया जिसकी वजह से आज मै इस मुकाम में पहुंची हूँ.
सलोनी ने बताया की लगातार 7 बार असफलता मिलने के बाद मेरी माँ और परिवार वालो का सब्र टूटने लगता था. उन्हें लग रहा था की शायद अब मै इस परीक्षा को पास नहीं कर पाऊँगी। लेकिन मेरे जूनून और वर्दी को पहनने की तड़प मुझे सोने नहीं देती थी. निरन्तर प्रयास के बाद मैंने आठवीं बार में ये परीक्षा पास की.
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