मध्यप्रदेश

एमपी में है छह से सात लाख रुपए कीमत वाली दुर्लभ प्रजाति की बिल्ली, इसकी खासियत आपको हैरान कर देगी

Sanjay Patel
26 April 2023 10:28 AM GMT
एमपी में है छह से सात लाख रुपए कीमत वाली दुर्लभ प्रजाति की बिल्ली, इसकी खासियत आपको हैरान कर देगी
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MP News: मध्यप्रदेश में एक दुर्लभ प्रजाति की बिल्ली है। जिसकी कीमत के साथ उसकी खासियत आपको हैरान कर सकती है। इस बिल्ली की भारतीय मुद्रा में कीमत छह से सात लाख रुपए तक बताई गई है।

मध्यप्रदेश में एक दुर्लभ प्रजाति की बिल्ली है। जिसकी कीमत के साथ उसकी खासियत आपको हैरान कर सकती है। इस बिल्ली की भारतीय मुद्रा में कीमत छह से सात लाख रुपए तक बताई गई है। इसके साथ ही इसमें कई विशेषताएं भी हैं। ब्रिटिश काल में अंग्रेज राजा इसको पालने का शौक रखते थे। इसकी आंखों का रंग भी अजीबोगरीब है। जानकारों की मानें तो यह भारत में बहुत ही कम पाई जाती है। मुख्य रूप से यह थाईलैंड में होती है।

दो माह पहले मिली थी बिल्ली

एमपी के जबलपुर में एक बिल्ली लोगों के कौतूहल का विषय बनी हुई है। जिसको देखने के लिए लोग दूर-दूर से आते हैं। इसकी एक आंख नीली है तो दूसरी आंख पीली। जबलपुर के रामपुर में रहने वाले अशोक कुमार के घर दो माह पूर्व एक सफेद रंग की बिल्ली आ गई। जिसकी विचित्र आंखों को देख परिवार के लोग उसे भगाने लगे किंतु वह नहीं भागी और वहीं पर रहने लगी। जिसके दो बाद अशोक ने बिल्ली को अपने दोस्त तुलाराम को दे दी। तुलाराम इस बिल्ली को अपने घर पर ले आए। तुलाराम ने इसकी आंखों को देख इसका नाम कैटरीना रख दिया।

चार बच्चों को दिया जन्म

जबलपुर के रामपुर में रहने वाले तुलाराम के घर पर इस बिल्ली ने 15 दिन पूर्व चार बच्चों को जन्म दिया है। इन बच्चों की अभी आंखें नहीं खुली हैं। जिनमें से दो भूरे रंग के हैं तो वहीं दो के रंग सफेद बताए गए हैं। बताया गया है कि इसी तरह की बिल्ली दो साल पहले एमपी के बैतूल में भी मिली थी। यह मुख्य रूप से थाईलैंड में पाई जाती है। इसे खाओ मनी या डायमंड आई कैट के नाम से जाना जाता है।

ब्रिटिश काल में अंग्रेज राजा पालते थे

जानकारों का कहना है कि डायमंड आई कैट नामक बिल्ली की भारतीय मुद्रा में कीमत छह से सात लाख रुपए होती है। जिसको ब्रिटिश काल में अंग्रेज राजा पालने के साथ ही इसे हमेशा अपने साथ रखते थे। हमारे यहां की बिल्ली सामान्य भोजन करती है किंतु यह बिल्ली पौष्टिक युक्त खाना पसंद करती है। इस बिल्ली को चार सौ रुपए किलो वाला फूड खिलाया जाता है। यह बहुत ही होशियर और चंचल किस्म की होती है।

इनका कहना है

इस संबंध में जबलपुर वाइल्ड लाइफ विभाग के आई एक्सपर्ट डॉ. बबीता दास के मुताबिक यदि किसी बिल्ली की आंखों के रेटीना में अंतर है तो उसे आनुवांशिक बीमारी से भी जोड़कर देखा जा सकता है। उनका कहना है कि इस बिल्ली को दोनों आंखों से एक जैसा ही दिख रहा होगा। आंखे भले ही बाहर से अलग-अलग रंग की दिख रही हों।

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