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खुरचन मिठाई का इतिहास: मलाई से बनने वाले खुरचन की कहानी 108 साल पुरानी है

खुरचन मिठाई का इतिहास: मलाई से बनने वाले खुरचन की कहानी 108 साल पुरानी है
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Khurchan Recipe: खुरचन ऐसी मिठाई है जिसकी कहानी खुर्जा से जुडी है

Story Of Khurchan Sweet: आपने मलाई से बनने वाली लच्छेदार खुरचन मिठाई तो कभी न कभी खाई ही होगी। लेकिन क्या आप ये जानते हैं कि खुरचन के लिए कौन सा शहर प्रसिद्द है? कुछ कहेंगे एमपी के सतना का गांव रामपुर बघेलान लेकिन यह सच नहीं है. जैसे पेड़ा के लिए मथुरा, बिरियानी के लिए हैदराबाद, मलाई मक्खन के लिए कानपुर वैसे ही खुरचन के लिए फेमस है खुर्जा

खुर्जा का खुरचन

खुरचन ऐसी मिठाई है जो शुद्ध मलाई से बनती है. बुंदेलखंड का जिला खुर्जा पॉटरी उद्योग के साथ-साथ यहां की स्पेशल मिठाई खुरचन के लिए फेमस है. इस मिठाई का इतिहास 100 साल पुराना है. ये मिठाई है शुद्ध दूध की मलाई से बनी खुरचन. जो मलाई की कई परतें जमने के बाद मखमली सी दिखती है. हालांकि इस मिठाई पर किसी एक जगह का एकाधिकार नहीं. ये मध्य प्रदेश में की भी प्रसिद्ध मिठाइयों में से एक है.

खुरचन मिठाई का इतिहास

कहते हैं कि खुर्जा में खुरचन मिठाई की दुकान सबसे पहले 1914 में शुरू हुई थी. और आज यह खुरचन के लिए वर्ल्ड फेमस डेस्टिनेशन बन गया है. यहां खुरचन का कारोबार 108 साल पुराना है. कोई खुर्जा जाए तो रिश्तेदार वहां से इस फेमस मिठाई को साथ लाने की डिमांड जरूर करते हैं.

कहा जाता है कि बुलंदशहर और आसपास के एरिया में दूध की मात्रा काफी होती थी, जिसके कारण उन्होंने दूध की ही अलग सी मिठाई बनाने के बारे में सोचा। उन्होंने मलाई को कढ़ाई में तबतक पकाया जबतक उसकी पापड़ी नहीं बनी और उसी को खुरच-खुरच के निकाला। इसी लिए खुरचन नाम पड़ा.

करीब 100 साल पहले रबड़ी से एक नई मिठाई तैयार की गई. रबड़ी की कई परतों को एक-दूसरे के ऊपर जमाकर मिठाई तैयार की गई और इसका स्वाद लाजवाब था. इस मिठाई को नाम दिया गया खुरचन. धीरे-धीरे खुरचन देश भर में मशहूर हुई.

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