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CAA, NRC का क्या हुआ? अमित शाह ने सब क्लियर कट कर दिया

CAA, NRC का क्या हुआ? अमित शाह ने सब क्लियर कट कर दिया
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What happened to CAA, NRC: गृहमंत्री अमित शाह (Amit Shah On CAA, NRC) पर बड़ा बयान दिया है

Amit Shah On CAA NRC: CAA NRC को लेकर 2019 से लेकर फरवरी 2020 तक पूरे देश में तांडव मचा था. मुसलमानों को इस एक्ट के खिलाफ भड़काकर दिल्ली को आग के हवाले कर दिया गया था. कोरोना के बाद शहीनबाग का प्रोटेस्ट खत्म हुआ और शांति कायम हुई. लेकिन इन दो सालों में CAA और NRC को लेकर बड़े बयान और थोड़ फैसले नहीं लिए गए. लोगों को लगा कि अलगावादियों के प्रोटेस्ट से सरकार डर गई है और अब यह बिल लागू नहीं होगा। मगर देश के गृहमंत्री अमित शाह (Amit Shah) ने सब कुछ क्लियर कट कर दिया है

अमित शाह सीएए एनआरसी पर क्या बोले

गृहमंत्री शाह ने नागरिकता (संशोधन) अधिनियम (CAA), राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (NRC) और यूनिफॉर्म सिविल कोड (Uniform Civil Code) पर केंद्र सरकार की निति को एकदम साफ कर दिया है. शाह ने कहा- CAA देश का कानून है और अब इसमें कोई बदलाव नहीं होगा। स्वस्थ्य और ओपन डिबेट के बाद बीजेपी देश में यूनिफॉर्म सिविल कोड यानी सामान नागरिक संहिता को लागु करके रहेगी

अमित शाह ने कहा- CAA असलियत है और इस देश का कानून है. CAA का विरोध करने वालों को यह सपना देखना बंद कर देना चाहिए कि CAA को वापस ले लिया जाएगा या लागू नहीं किया जाएगा। दरअसल उन्होंने ये तब कहा जब उनसे पुछा गया 'क्या CAA ठन्डे बस्ते में चला गया है?'

शाह ने कहा

CAA NRC ठन्डे बस्ते में नहीं गए हैं. CAA भारत का कानून है. और इसमें कोई बदलाव नहीं होने वाला। हम नियम बनाते हैं. Covid के चलते इसे रोका गया है. अब ये समाप्त होने वाला है. मैं ये कहूंगा कि CAA पर अमल नहीं होगा ऐसे सपना देखने वाले भूल कर रहे हैं. CAA सच्चाई है.

यूनिफॉर्म सिविल कोड हमारा वादा है

यूनिफॉर्म सिविल कोड बीजेपी की यात्रा का एक वादा रहा है. जनसंघ से लेकर जनता पार्टी तक. किसी देश या राज्य में धर्म के आधार पर कानून नहीं होना चाहिए। अगर राष्ट्र पंथ निरपेक्ष है तो धर्म के आधार पर कानून कैसे हो सकता है. हर धर्म को मानने वालों के लिए एक ही कानून होगा

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