Lokayukta Raid: करोड़ों का आसामी निकला IDA का Sub-Engineer, बोरे में बंद नकदी के साथ सोना मिला

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Update: 2021-02-16 06:06 GMT

इंदौर। लोकायुक्त की टीम ने आज सुबह 6 बजे इंदौर विकास प्राधिकरण के सब इंजीनियर गजानंद पाटीदार और उनके ठेकेदार भाई रमेश भाटीदार के अलग-अलग 9 ठिकानों पर छापा मारा है। छापे की कार्रवाई के दौरान बेहिसाब संपत्ति की जानकारी मिली है। इतना ही नहीं उनके घर से बड़ी मात्रा में नकदी और सोना-चांदी भी मिली है।

लोकायुक्त पुलिस के मुताबिक सब इंजीनियर गजानंद पाटीदार केवल आईडीए में ही नहीं काम करते हैं। बल्कि अपने भाई और रिश्तेदार के साथ मिलकर जमीन की खरीद-फरोख्त और कंस्ट्रक्शन का काम करते हैं। इस काम में उन्होंने मोटा पैसा लगाया हुआ है। ऐसी जानकारी सामने आ रही है कि छापे के दौरान उनके घर से 25 लाख से ज्यादा नकदी मिली है। इसके अलावा कई किलो सोना और चांदी भी बरामद हुई है। जिसके स्रोत्र के बारे में लोकायुक्त टीम जानकारी जुटा रही है।

5 वर्ष पूर्व ही बने इंजीनियर गजानंद पाटीदार 5 वर्ष पूर्व ही इंदौर विकास प्राधिकरण में इंजीनियर बने हैं। उसके पूर्व तक प्राधिकरण में ड्राफ्ट मैन के रूप में काम कर रहे थे। सरकार के द्वारा उन्हें पदोन्नति देकर सब इंजीनियर बनाया गया। शुरू से ही वे प्राधिकरण की प्लानिंग शाखा में ही काम कर रहे हैं।

प्लानिंग शाखा ही बनाती है प्लान प्राधिकरण द्वारा लाई जाने वाली किसी भी नई योजना का प्लान बनाने का काम शाखा के द्वारा किया जाता है। हमेशा से यह आरोप लगते रहे हैं कि प्राधिकरण की प्लानिंग शाखा से जानकारियां लीक हो जाती है। जिसके कारण प्राधिकरण की योजना आने के पूर्व से योजना की जानकारी होने पर जमीन के जादूगरों के द्वारा जमीन की खरीदी कर ली जाती है।

भाई भी है बिल्डर प्राधिकरण के इंजीनियर गजानंद पाटीदार का भाई रमेश चंद्र पाटीदार बिल्डर के रूप में काम करता है। इस छापे के माध्यम से लोकायुक्त पुलिस के द्वारा यह जांच भी की जा रही है कि बिल्डर के इस कारोबार में उसके भाई के द्वारा अपनी सरकारी सेवा का किस तरह कितना उपयोग किया जाता है।

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